जले पर नमक छिड़कने का काम कर रही मप्र सरकार- पं. रितेश त्रिपाठीदेवास। सोयाबीन का न्यूनतम समर्थन मूल्य पूर्व से ही 4892 है। मंगलवार को मध्य प्रदेश की कैबिनेट की बैठक में केंद्र सरकार से न्यूनतम समर्थन मूल्य 4800 करने हेतु आग्रह करेंगे। ऐसा निर्णय लिया है जो दुख का विषय है। वरिष्ठ कांग्रेस नेता पं. रितेश त्रिपाठी ने प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि किसान बंधु लगातार लागत बढऩे से सोयाबीन का मूल्य 6000 रूपए प्रति क्विंटल की मांग कर रहे हैं। वर्तमान मध्यप्रदेश की सरकार ने उल्टे जले पर नमक छिडकऩे का काम किया है। लगातार कीटनाशक, डीजल एवं अन्य वस्तुओं के भाव डबल हो चुका हैं। मध्यप्रदेश सरकार हमेशा कहती है कि किसानों की आय हम दोगुनी करेंगे। उल्टे मूल्य बढ़ाने की वजह 92 रुपए कम कर दिया है। पं. त्रिपाठी ने किसानों से आग्रह किया है कि जब तक 6000 प्रति क्विंटल का न्यूनतम समर्थन मूल्य सोयाबीन एवं धान का 3100 रूपए कपास का 10000 रूपए प्रति क्विंटल नहीं होता है। तब तक किसान बंधु अपने उपज मंडी में नहीं बचेंगे।
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